ईद-उल-फितर (Eid-ul-Fitr) के मौके पर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने मालेरकोटला को पंजाब का 23वां जिला बना गया है। आज मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने मालेरकोटला को जिला घोषित करने के साथ ही इस नए जिले के लिए नए डीसी की नियुक्ति का एलान भी कर दिया है।
Happy to share that on the auspicious occasion of Eid-ul-Fitr, my Govt has announced Malerkotla as the newest district in the state. The 23rd district holds huge historical significance. Have ordered to immediately locate a suitable site for the district administrative complex. pic.twitter.com/9j6pNRgXWC
— Capt.Amarinder Singh (@capt_amarinder) May 14, 2021
कैप्टन अमरिंदर ने मालेरकोटलावासियों के लिए उपहारों की घोषणा करते हुए कहा कि शेर मोहम्मद खान के नाम पर 500 करोड़ रुपये की लागत से मालेरकोटला में एक मेडिकल कॉलेज भी बनाया जाएगा। लड़कियों के लिए 12 करोड़ रुपये की लागत से एक कॉलेज भी बनाया जाएगा। वहीं एक बस स्टैंड, एक महिला थाना भी बनेगा।
गौर हो कि मालेरकोटला पंजाब का एकमात्र मुस्लिम बहुल एरिया है। पंजाब के गुरूओं के इतिहास में मालेरकोटला के नवाब शेर मोहम्मद खान ने सरहिंद के सूबेदार का विरोध करते हुए श्री गुरु गोबिंद सिंह जी के छोटे साहिबजादों के पक्ष में अपनी आवाज उठाई थी। इसके चलते पंजाब के इतिहास में उनका एक सम्मानित स्थान है।
यहीं नहीं नवाब शेर मुहम्मद खान ने श्री गुरु गोबिंद सिंह जी के दोनों छोटे साहिबजादों बाबा जोरावर सिंह और बाबा फतेह सिंह, जोकि उस समय सात साल और नौ साल की उम्र के थे, को जीवित ही दीवार में चिनवा देने के आदेश का खुलेआम विरोध किया था। नवाब शेर मुहम्मद खान के इस बहादुरी भरे कदम के बारे में पता लगने पर दशमेश पिता श्री गुरु गोबिंद सिंह जी ने उन्हें आशीर्वाद दिया और मालेरकोटला की सुरक्षा का वचन दिया था। गुरु साहिब जी ने नवाब शेर मुहम्मद खान को श्री साहिब भी भेजा था।