अब स्मार्ट सिटी चंडीगढ़ में साइकिल शेयरिंग प्रोजेक्ट के तहत 12 सितंबर तक साइकिल चलाने का कोई चार्ज नहीं लिया जाएगा। आप को बता दें कि चंडीगढ़ सिटी में 155 डॉकिंग स्टेशन पर साइकिल चलाने के बाद वापस छोडऩे के बाद लॉकिंग सिस्टम ठीक तरीके से काम नहीं कर पा रहा था । लोगों को साइकिल डॉकिंग स्टेशन पर खड़ी करने के बाद भी चार्ज लग रहा है। इस कारण राइड लेने वालों को एक्स्ट्रा पैसे देना पड़ रहे हैं।
कई लोगों ने यह भी बताया कि राइड के लिए इलेक्ट्रिक साइकिल ली थी, लेकिन उसकी बैटरी ही चार्ज नहीं थी। चार्ज्ड बैटरी वाली साइकिल नहीं मिलती। इससे पैसे तो बैटरी के कट जाते हैं, जबकि चलानी वो पैडल से पड़ती है।
चंडीगढ़ के अंग्रेजी ट्रिब्यून न्यूजपेपर ने इस बात को उठाया था कि स्मार्ट बाइक ऐप में यूजर्स को कई समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। अब कंपनी सभी शिकायतों को ठीक करने का काम करेगी।चंडीगढ़ स्मार्ट सिटी लिमिटेड के मुख्य महाप्रबंधक एनपी शर्मा ने बताया कि साइकिल चलाने की सुविधा अब 12 सितंबर तक मुफ्त होगी।
सिटी प्रोजेक्ट हैड अभिनंदन मल्होत्रा ने बताया कि हम अभी के लिए यूजर्स से राईड के चार्ज वसूल नहीं करेंगे। क्योंकि एप्प में उन्हें कुछ प्रोबलम्स का सामना करना पड़ रहा हैं ।
वहीं एक सोशल वर्कर आर. के. गर्ग ने बताया कि मुझे लगता है कि कंपनी ने पब्लिक की बात सुनी है और यह एक अच्छा संकेत है। जिसकी लोगों द्वारा सराहना करनी चाहिए। साइकिल चलाने का समय मॉर्निंग 4.30 बजे से मिडनाईट तक होना चाहिए। लोगों को फुल चार्ज साइकिल मुहैया कराई जाए और ऐप भी अच्छे से काम करे। इन मुद्दों को ठीक किया जाना चाहिए।
वहीं सेक्टर 24 में एक वर्किंग वूमैन हॉस्टल में रहने वाली लिपिका ने चंडीगढ़ ट्रिब्यून को बताया, कि मैं सेक्टर 16, 15 और 23 में डॉकिंग स्टेशनों से साइकिल राईड करती हूं। लेकिन मेरा भी एक्सपीरिंस अच्छा नहीं रहा। ऐप से बार कोड स्कैन करने के बाद साइकिल अनलॉक नहीं होती हैं। कई लोकेशन पर तो मुझे ई-बाइक ही नहीं मिली और लोकशन भी ठीक नहीं दिखी। जिसके बाद मुझे कस्टमर केयर पर कॉल कर मदद लेनी पड़ी। इस ऐप का क्या फायदा जब यह ठीक से काम नहीं कर रहा है?
वहीं एक स्टूडेंट ने बताया कि कभी-कभी, ऐप हमें चार्ज करना शुरू कर देता है, लेकिन साइकिल अनलॉक नहीं होती है। यह एक अच्छा प्रोजेक्ट है, लेकिन उन्हें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि ऐप सिस्टम को सपोर्ट करता है। नहीं तो , पब्लिक बाइक-शेयरिंग प्रोजेक्ट फेल हो जाएगा।
आप को बता दें कि पब्लिक बाइक-शेयरिंग प्रोजेक्ट का पहला फेज़ 12 अगस्त को यूटी प्रशासक वीपी सिंह बदनोर द्वारा शुरू किया गया था। चंडीगढ़ में 155 डॉकिंग स्टेशनों पर कुल 1,250 साइकिल उपलब्ध कराई गई थीं। आधे घंटे के लिए 10 रुपये और जीएसटी चार्ज दिया जाता है।
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